मेडिकल कॉलेज छात्रा का शव गंगा से वरामद,गंगा बैराज से बरामद हुई थी स्कूटी
- छात्रा के पिता इटावा में तैनात हैं, गुरुवार को ही 12 बजे कालेज से निकली थी अमृता
- मूलरूप से झांसी की रहने वाली अमृता के पिता सिविल इंजीनियर हैं
कानपुर. जिले के गणेश शंकर मेडिकल कालेज में अंतिम वर्ष की छात्रा का शव 28 घंटे बाद उन्नाव के गंगा घाट पर पानी में उतराता हुआ मिला है। सूचना मिलते ही पुलिस छात्रा का शव लेने के लिए उन्नाव पहुंच गई। दअसल, बीते गुरूवार को छात्रा की स्कूटी गंगा बैराज के गेट नंबर 16 और 17 के बीच में मिली थी। गुरूवार और शुक्रवार को गोताखोरों की टीम को छात्रा की तलाश करने के लिए गंगा में उतारा गया था, लेकिन उसका कहीं कुछ पता नहीं चला पाया था।
फोटो साभार
अमृता की सहेली ने पहचानी उसकी स्कूटी
इसी दौरान पुलिस स्कूटी को लेकर आसपास के लोगों से पूछताछ की। जब कुछ पता नहीं चला तो पुलिस स्कूटी को लेकर चौकी जा रही थी। गंगा बैराज पहुंची अमृता की सहेली ने स्कूटी पहचान ली। उसने पुलिस से कहा कि अमृता गंगा में कूदी है और उसकी तलाश के लिए गोताखोर उतारने को कहा। अमृता की सहेली ने इसकी सूचना अपने दोस्तों को दे दी। पुलिस ने गोताखोरों की टीम को उतारा लेकिन देर शाम तक कहीं कछ पता नहीं चला था।
शुक्रवार को भी गोताखोरों की मदद से हुई थी तलाश
पुलिस ने शुक्रवार सुबह भी गोताखोरों की टीम को उतारा था। इसके साथ ही गंगा में जाल भी डलवाया था। इसके बावजूद भी कुछ पता नहीं चला था। दोपहर तक पुलिस छात्रा का शव बरामद नहीं कर पाई तो इससे नाराज जीएसवीएम के छात्रों ने जाम लगा दिया। छात्रों ने जमकर हंगामा किया। मौके पर पहुंची पुलिस ने छात्रों को समझाकर शांत कराया और जाम खुलवाया था।
मूलरूप से झांसी के केकेपुरी कॉलोनी में रहने वाले रामस्नेही सिंह सिविल इंजीनियर हैं। रामस्नेही फिलहाल इटावा में तैनात हैं। परिवार में पत्नी श्याम सुंदरी के अलावा तीन बेटियां और एक बेटा है। उनकी एक बेटी आरती की शादी हो चुकी है और दूसरी अनामिका फ्रांस में एमबीए कर रही है।
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